कंसिस्टेंट परफॉरमेंस से ही सुनिश्चित होगी टीम ११ में जगह
अपनी फ़ास्ट बोलिंग से चौकाने वाले आयुष हाल ही में इंडिया बी की ओर से खेले हैं। रायपुर डिस्ट्रिक्ट अकादमी से १३ साल की उम्र से शुरू हुआ आयुष का क्रिकेटिंग सफर आज पुरे पेस में है। आयुष कहते है की अंतरास्ट्रीय क्रिकेट खेलने के लिए लगातार कंसिस्टेंट परफॉरमेंस पर विशेष फोकस की जरूरत होती है। लगातार अच्छा परफॉर्म कर रहे आयुष आल-राउंडर है। लोअर मिडिल आर्डर में बैटिंग करने वाले आयुष डेप्थ ओवर में बिना दबाओ के अच्छा परफॉर्म करने के लिए जाने जाते है। पिछले सितम्बर में विनुमानकड़ में प्रदर्शन के आधार पर आयुष उन ९० क्रिकेटर में शुमार हुए जिन्हे चैलेंजर ट्रॉफी खेलने का अवसर मिला। उसके बाद आयुष ट्राई एंगुलर ट्रॉफी में इंडिया बी की और से खेले जिसमे उनकी टीम फाइनल में बांग्लादेश से हारकर फर्स्ट रनर अप रही । आयुष कुच विहार ट्रॉफी में छत्तीसगढ़ टीम का हिस्सा बने, तमिलनाडु के मैच में नौए विकेट के लिए उनकी ७१ रनो की साझेदारी ने टीम को न केवल जीत का स्वाद चखाया बल्कि पहली बार छत्तीसगढ़ की अंडर १९ टीम नॉक आउट स्टेज तक पहुंची। एशिया कप के लिए हुए शिविर जो बैंगलोर में हुआ था आयुष उस कैंप के हिस्सा थे। आयुष से जब हमने पूछा की लगातार वे टूर्नामेंट्स खेल रहे थे ऐसे में काफी कुछ सीखने को मिला होगा तो उन्होंने बताया की राष्ट्रीय स्तर पर हर खिलाडी फ़ोकस रहते है ऐसे में सिचुएशन से जल्द एडजस्ट होने , मैच दर मैच अपने खेल को सुधारने के साथ टीम के जरूरत के हिसाब से खेलने का अनुभव हाल के टूर्नामेंट्स में सीखने की मिला। आयुष जिस तरह अपने खेल से आल-राउंड प्रदर्शन कर रहे है उम्मीद की जा सकती है की छतीसगढ़ियो को भी टीम इंडिया में आयुष को खेलते देखने का मौका जल्द मिलेगा।